भोपाल 10 सितंबर ; मंगलवार को राजधानी भोपाल में नियमितिकरण समेत 5 मांगों को लेकर 8 हजार से ज्यादा अतिथि शिक्षकों ने प्रदर्शन किया। बारिश के बीच भी वे डटे रहे। प्रदर्शन 6 घंटे तक चला। अतिथि शिक्षकों का एक प्रतिनिधिमंडल शिक्षा मंत्री राव उदय प्रताप से मिलने पहुंचा था। लेकिन बात नहीं बनी। अब मंत्री बुधवार सुबह 11 बजे प्रतिनिधिमंडल से मुलाकात करेंगे।इससे पहले अतिथि शिक्षक महासंघ, मध्यप्रदेश के बैनर तले प्रदेशभर से अतिथि शिक्षक अंबेडकर मैदान में जुटे थे। यहां से वे तिरंगा यात्रा निकालकर सीएम हाउस घेरने निकले। पुलिस ने उन्हें बैरिकेडिंग लगाकर रोक दिया। लाठियों से पीछे धकेला। धक्का-मुक्की के दौरान कई शिक्षक गिरकर घायल भी हो गए। शिक्षकों ने पुलिस पर उन्हें पीटने के आरोप लगाए।
अतिथि शिक्षक समन्वय समिति के प्रांताध्यक्ष सुनील सिंह परिहार का कहना है पुलिस ने उन्हें बैरिकेडिंग लगाकर रोक थीं, जो अब तक पूरी नहीं हुईं। इससे प्रदेशभर के हजारों अतिथि शिक्षक नाराज और अपने भविष्य को लेकर सशंकित हैं। हमारी सरकार से मांग है कि अनुभव के आधार पर नीति बनाकर अतिथि शिक्षको को 12 माह का सेवाकाल एवं पद स्थायित्व कर भविष्य सुरक्षित करें।0-ये हैं मांगें:गुरुजियों की भांति अलग से विभागीय पात्रता परीक्षा लेकर भविष्य सुरक्षित करें।अतिथि शिक्षक भर्ती मे वार्षिक अनुबंध सत्र 2024-25 से लागू करें।
अनुभव के आधार पर नीति बनाकर अतिथि शिक्षको को 12 माह का सेवाकाल एवं पद स्थायित्व कर भविष्य सुरक्षित किया जाए। तात्कालिक मांगें:अतिथि शिक्षक स्कोरकार्ड में प्रत्येक सत्र अनुभव के 10 अंक अधिकतम 100 अंक सभी वर्गों (स्स्स् -1, स्स्स्-2, स्स्स् 3) मे एकसमान अंक दर्ज किए जाएं।30त्न से कम परीक्षा परिणाम वाले स्कूलों से अतिथि शिक्षकों को बाहर का रास्ता दिखा दिया गया है। इन्हें एक और अवसर दिया जाना चाहिए।