जालोर ,26 मई राजस्थान के जालोर जिले के तवाव गांव में 250 फीट गहरे बोरवेल में 12 साल का बच्चा निम्बाराम फंस गया। 90 फीट की गहराई में फंसे इसे बच्चे को ग्रामीणों ने देसी जुगाड़ से महज 15 मिनट में सुरक्षित बाहर निकाल लिया।
हुआ यूं कि जालोर के तवाव निवासी जोइताराम चौधरी का बेटा निंबाराम चौधरी नलकूप के पास खेल रहा था। इसी दौरान वह नलकूप में गिर गया। दरअसल, तवाव गांव में गुरुवार को मंदिर में महोत्सव चल रहा था तो बच्चे की मां और दादी वहां चली गई थी। जब घर लौटी तो निम्बाराम दिखाई नहीं दिया।
इधर- उधर तलाश की, लेकिन कोई जानकारी नहीं मिली। बाद में घर से 100 मीटर दूर बोरवेल का ढक्कन खुला देखा तो उसे शक हुआ कि बेटा नलकूप में गिर गया। उसे तुरंत आस-पास के लोगों को इसी सूचना दी। सूचना पाकर जसवंतपुरा एसडीएम राजेंदसिंह चांदावत समेत अन्य अधिकारी भी मौके पर पहुंचे। अधिकारियों को ग्रामीणों ने देसी जुगाड़ के एक्सपर्ट मेडा निवासी माधाराम सुथार के बारे में बताया। प्रशासन ने उसे तुरंत मौके पर बुलाया।
माधाराम ने देसी जुगाड़ के लिए बोरवेल की लंबाई के बराबर तीन पाइप लिए। तीनों पाइप को बांधकर लास्ट में एक टी-बनाई। उस पर जाल बांधा। सभी को एक मास्टर रस्सी से जोड़कर बोरवेल में लटकाया। साथ में एक कैमरा भी था, जिससे पता चला कि बच्चा करीब 90 फीट की गहराई पर फंसा हुआ। पूरा स्ट्रक्चर बोरवेल में गया तो बच्चा उसमें फंसा गया, जिसे मास्टर रस्सी से महज 15 मिनट में बाहर निकाल लिया जबकि बोरवेल में बच्चे फंसने पर प्रशासन को कई घंटों तक खासी मशक्कत करनी पड़ती है। बोरवेल के आस-पास जेसीबी मशीनों से खुदाई करने तक के मामले अक्सर सामने आते हैं।