नई दिल्लीे। अक्सकर ऐसा होता है कि लोग आपसे झूठ बोलते हैं। मगर, आप पता नहीं कर पाते हैं कि उसकी बात पर यकीन करें या नहीं। हम आपको बता रहे हैं ऐसे ही कुछ तरीकों के बारे में जिससे आप पता कर सकेंगे कि कोई व्य क्ित आपसे सच बोल रहा है या नहीं।
आंखे चुराते हैं वे लोग यदि कोई आपसे झूठ बोल रहा है, तो वह आंखों में आंखें मिलाकर बात नहीं करता है। वह नीचे-ऊपर या कहीं और देखते हुए आपसे बात करेगा।
उनसे सवाल पूछें यदि आपको लग रहा है कि कोई आपसे झूठ बोल रहा है, तो उससे उस मुद्दे पर कई सवाल करें। सामान्यग से सवाल जैसे उनके समय और रुटीन के बारे में। इस बात की बहुत उम्मीाद है कि इस दौरान आप उनका झूठ पकड़ लेंगे।
यदि वे जरूरत से ज्यािदा जानकारी दे रहे हैं यदि कोई आपको अधिक और गैरजरूरी जानकारी दे रहा है, जिसके बारे में आपने कुछ पूछा भी नहीं है। तो समझ लीजिए कि दाल में कुछ काला है। ऐसा वे अपने झूठ को छिपाने के लिए करते हैं।
वे डिफेंसिव होते हैं एक मनोवैज्ञानिक अध्य यन बताता है कि झूठ बोलने वाला व्यऐक्ित डिफेंसिव यानी अपने बचाव की कोशिश करता है। वह आखिरी तक यही कोशिश करता दिखेगा कि उसका झूठ पकड़ा नहीं जाए। वहीं निर्दोष व्य क्ित आक्रामक हो जाता है क्यों कि आप उसकी ईमानदारी पर सवाल उठा रहे हैं।
विषय बदलने की कोशिश करते हैं झूठ बोलने वाले व्यरक्ित को जब लगता है कि उनका झूठ पकड़ लिया जाएगा, तो वे विषय को बदलने की कोशिश करते हैं। वे मूल बात से आपका ध्याहन भटकाने की कोशिश करेंगे।
नाक या कान खुजाएंगे स्मेषल एंड टेस्टक फाउंडेशन के डॉक्टकर हिर्श ने मोनिका लेवेंस्कीा के बिल क्िलंटन के साथ संबंध का अध्य यन किया था। जब उन्होंडने बिल क्िलंटन से अफेयर के बारे में सवाल किए तो उनकी जबान सूख गई, वह अपनी नाक को छू रहे थे और उसे खुजला रहे थे। इससे पता चलता है कि झूठे व्यवक्ित के हाव-भाव से आप उसका झूठ पकड़ सकते हैं।
पसीना निकलेगा या गहरी सांस लेंगे झूठ पकड़ने वाले व्येक्ित हार्टबीट पर ध्या न देकर झूठ को पकड़ते हैं। ऐसा देखा गया है कि झूठ बोलने वाले लोग गहरी सांसे लेते हैं। उनके दिल की धड़कनें बढ़ जाती हैं और उनके पसीना अधिक निकलता है।